भारतीय सेडान बाजार में जब भी दमदार और सुरक्षित कारों की बात होती है, तो फॉक्सवैगन वर्टस और स्कोडा स्लाविया का नाम सबसे पहले आता है। ये दोनों कारें एक ही प्लेटफॉर्म (MQB-A0-IN) पर बनी हैं, इनमें एक जैसे इंजन और गियरबॉक्स विकल्प हैं, और इन्हें ग्लोबल NCAP से 5-स्टार सेफ्टी रेटिंग भी मिली है। ऐसे में सवाल उठता है कि जब सब कुछ इतना समान है, तो इन दोनों में से किसे चुनें?
आइए, इन दोनों जर्मन इंजीनियरिंग की शानदार पेशकशों की गहराई से तुलना करते हैं और जानते हैं कि आपके लिए कौन सी कार बेहतर है।
समानताएं: एक ही डीएनए
तुलना शुरू करने से पहले, यह जानना जरूरी है कि इन दोनों कारों में क्या-क्या एक जैसा है:
- प्लेटफॉर्म: दोनों कारें फॉक्सवैगन ग्रुप के MQB-A0-IN प्लेटफॉर्म पर आधारित हैं, जो इन्हें बेहतरीन स्थिरता और सुरक्षा प्रदान करता है।
- इंजन: दोनों में दो टर्बो-पेट्रोल इंजन विकल्प मिलते हैं:
- 1.0 लीटर TSI: यह इंजन 115 PS की पावर और 178 Nm का टॉर्क देता है।
- 1.5 लीटर TSI: यह परफॉरमेंस-ओरिएंटेड इंजन 150 PS की पावर और 250 Nm का टॉर्क जेनरेट करता है।
- गियरबॉक्स: दोनों ही कारों में 1.0L इंजन के साथ 6-स्पीड मैनुअल और 6-स्पीड टॉर्क कन्वर्टर ऑटोमैटिक का विकल्प है। वहीं, 1.5L इंजन के साथ 6-स्पीड मैनुअल और 7-स्पीड DSG ऑटोमैटिक का विकल्प मिलता है।
- सुरक्षा: दोनों ही सेडान को ग्लोबल NCAP क्रैश टेस्ट में एडल्ट और चाइल्ड सेफ्टी के लिए 5-स्टार रेटिंग मिली है, जो इन्हें भारत की सबसे सुरक्षित कारों में से एक बनाती है।
मुख्य अंतर: जहां राहें अलग होती हैं
अब बात करते हैं उन पहलुओं की जो इन दोनों कारों को एक-दूसरे से अलग बनाते हैं।
1. डिजाइन और लुक
यही वह जगह है जहाँ सबसे बड़ा अंतर दिखाई देता है।
- Volkswagen Virtus: वर्टस का डिजाइन क्लासिक, शार्प और एलिगेंट है। इसमें एक साफ-सुथरी और मैच्योर अपील है। इसकी सिंगल-स्लैट ग्रिल, पतले LED हेडलैंप्स और सीधी रेखाएं इसे एक मिनी-जेट्टा (Volkswagen Jetta) जैसा लुक देती हैं। यह उन लोगों को पसंद आएगी जिन्हें एक सदाबहार और प्रीमियम डिजाइन चाहिए।
- Skoda Slavia: स्लाविया का डिजाइन बोल्ड, मस्कुलर और ज्यादा आकर्षक है। इसकी सिग्नेचर बटरफ्लाई ग्रिल, क्रिस्टलाइन LED हेडलैंप्स और शार्प कट्स इसे एक दमदार मौजूदगी देते हैं। यह उन लोगों के लिए है जो एक मॉडर्न और ध्यान खींचने वाली कार चाहते हैं।
निष्कर्ष: डिजाइन पूरी तरह से व्यक्तिगत पसंद का मामला है। अगर आपको सादगी और क्लास पसंद है तो वर्टस, और अगर बोल्ड और मॉडर्न लुक चाहिए तो स्लाविया बेहतर विकल्प है।
2. इंटीरियर और केबिन का अनुभव
बाहर की तरह अंदर भी दोनों कारों का फील अलग है।
- Volkswagen Virtus: वर्टस का केबिन साफ-सुथरे लेआउट और प्रीमियम फील के साथ आता है। इसमें आमतौर पर ब्लैक और बेज ड्यूल-टोन थीम मिलती है। इसका डैशबोर्ड डिजाइन मिनिमलिस्टिक है और टचस्क्रीन इंफोटेनमेंट सिस्टम डैशबोर्ड में अच्छी तरह से इंटीग्रेटेड लगता है।
- Skoda Slavia: स्लाविया का केबिन ज्यादा स्टाइलिश और लेयर्ड डिजाइन के साथ आता है। इसमें ब्लैक और बेज के साथ डैशबोर्ड पर एक ब्रॉन्ज/गोल्डन पट्टी मिलती है, जो इसे एक यूनिक लुक देती है। इसके गोल एसी वेंट्स और टू-स्पोक स्टीयरिंग व्हील इसे वर्टस से अलग बनाते हैं।
दोनों में फीचर्स लगभग समान हैं, जैसे कि 10-इंच का टचस्क्रीन, डिजिटल इंस्ट्रूमेंट क्लस्टर, वेंटिलेटेड सीटें, सनरूफ और कनेक्टेड कार टेक्नोलॉजी।
3. ड्राइविंग और हैंडलिंग
इंजन एक जैसे होने के बावजूद, दोनों की ड्राइविंग डायनामिक्स में थोड़ा अंतर है।
- Volkswagen Virtus: वर्टस का सस्पेंशन सेटअप थोड़ा सख़्त (stiffer) है। इस वजह से यह तेज गति पर और कोनों में ज्यादा स्थिर महसूस होती है। इसकी स्टीयरिंग फीडबैक थोड़ी बेहतर है, जो इसे उत्साही ड्राइवरों (enthusiastic drivers) के लिए एक बेहतर विकल्प बनाती है।
- Skoda Slavia: स्लाविया का सस्पेंशन थोड़ा नरम (softer) है। यह खराब सड़कों और गड्ढों को बेहतर तरीके से सोखता है, जिससे शहर के अंदर की राइड ज्यादा आरामदायक हो जाती है। यह उन लोगों के लिए बेहतर है जो आराम को प्राथमिकता देते हैं।
4. डायमेंशन और स्पेस
कागजों पर, वर्टस स्लाविया से थोड़ी लंबी है और इसका व्हीलबेस भी थोड़ा ज्यादा है।
- Volkswagen Virtus: लंबाई 4561 मिमी, व्हीलबेस 2651 मिमी, बूट स्पेस 521 लीटर।
- Skoda Slavia: लंबाई 4541 मिमी, व्हीलबेस 2651 मिमी, बूट स्पेस 520 लीटर।
हालांकि व्हीलबेस दोनों का समान है, लेकिन वर्टस की थोड़ी अधिक लंबाई उसे एक लंबा सेडान वाला स्टांस देती है। बूट स्पेस में 1 लीटर का अंतर व्यावहारिक रूप से कोई मायने नहीं रखता।