इटली की प्रसिद्ध लक्ज़री कार निर्माता लैम्बॉर्गिनी ने अपनी नवीनतम हाइब्रिड सुपरकार टेमेरारियो को भारत में पेश किया है। यह कार अपनी उच्च-प्रदर्शन तकनीक, शानदार डिज़ाइन और अद्भुत ड्राइविंग अनुभव के लिए जानी जाती है। टेमेरारियो अपनी पूर्ववर्ती हुराकैन से भी आगे बढ़कर आधुनिक और शक्तिशाली तकनीक का बेहतरीन मिश्रण प्रस्तुत करती है।
प्रदर्शन और पावरट्रेन
टेमेरारियो में 4.0 लीटर ट्विन-टर्बो V8 इंजन और तीन इलेक्ट्रिक मोटर्स का संयोजन है। V8 इंजन अकेले 800 हॉर्सपावर उत्पन्न करता है, जबकि कुल मिलाकर यह 920 हॉर्सपावर की शक्ति प्रदान करता है। इस शक्ति के कारण यह सुपरकार 0 से 100 किमी/घंटा महज 2.7 सेकंड में पकड़ सकती है।
इसके अलावा, कार की अधिकतम गति 343 किमी/घंटा है और इसका इंजन 10,000 RPM तक रेव करता है, जो ड्राइविंग अनुभव को और भी रोमांचक बनाता है। 3.8 kWh बैटरी के साथ, टेमेरारियो लगभग 10 किलोमीटर तक इलेक्ट्रिक मोड में भी चल सकती है।
डिज़ाइन और इंटीरियर्स
टेमेरारियो का डिज़ाइन लैम्बॉर्गिनी की आक्रामक और एयरोडायनामिक शैली को दर्शाता है। इसमें बड़े एयर इनलेट्स और काउंटाच से प्रेरित स्टाइलिंग एलिमेंट्स शामिल हैं।
इंटीरियर्स में खुला और आरामदायक कैबिन, डिजिटल डिस्प्ले, और समायोज्य सीटें शामिल हैं, जो ड्राइवर और यात्री दोनों के लिए बेहतरीन सुविधा और आराम प्रदान करती हैं।
भारत में लॉन्च और कीमत
टेमेरारियो को भारत में 30 अप्रैल 2025 को लॉन्च किया गया। इसकी एक्स-शोरूम कीमत लगभग Rs.6 करोड़ से शुरू होती है। यह कार उन कार प्रेमियों के लिए एक विशेष विकल्प है, जो प्रदर्शन और लक्ज़री दोनों में श्रेष्ठता चाहते हैं।
हुराकैन से तुलना
विशेषता |
टेमेरारियो |
हुराकैन |
इंजन |
4.0L V8 + 3 इलेक्ट्रिक मोटर्स |
5.2L V10 |
पावर |
920 hp |
640 hp |
0-100 किमी/घंटा त्वरण |
2.7 सेकंड |
2.9 सेकंड |
अधिकतम गति |
343 किमी/घंटा |
325 किमी/घंटा |
हाइब्रिड सिस्टम |
हाँ |
नहीं |
टेमेरारियो अपनी शक्ति और गति में हुराकैन से बेहतर है और साथ ही इसमें हाइब्रिड तकनीक भी शामिल है, जो इसे आधुनिक और पर्यावरण के अनुकूल बनाती है।
निष्कर्ष
लैम्बॉर्गिनी टेमेरारियो अपने शानदार प्रदर्शन, आधुनिक हाइब्रिड तकनीक और इटालियन डिज़ाइन के साथ भारत में सुपरकार प्रेमियों के लिए एक नया मापदंड स्थापित करती है। अगर आप इसे चलाने का अनुभव लेना चाहते हैं, तो नज़दीकी लैम्बॉर्गिनी डीलरशिप से टेस्ट ड्राइव शेड्यूल करना सबसे पहला कदम है।